बिहार प्रदेश बीजेपी को एक और झटका देते हुए अश्विनी चौबे ने बीजेपी कोर कमिटी से अपना इस्तीफा दे दिया। इसके पूर्व पार्टी अध्यक्ष पद से डा. सी पी ठाकुर ने इस्तीफा देकर प्रदेश भाजपा के समक्ष पहले ही मुश्किल खड़ा कर दी थी। प्रदेश भाजपा में उठा-पटक का यह क्लाइमेक्स चुनाव में टिकट बंटवारे को लेकर अपने-अपने ‘चहेते’ को टिकट नहीं मिलने से हुआ । जहाँ प्रदेश अध्यक्ष डा. सी पी ठाकुर अपने पुत्र को टिकट दिलाना चाहते थे वहीं श्री चौबे के भी कई अपने चहेते थे, टिकट बंटवारे में सुशील मोदी की ‘तानाशाही’ के खिलाफ बगावत की सुगबुगाहट टिकटों की पहली सूची जारी होते ही शुरू हो चुकी थी, पार्टी के कई पुराने कार्यकर्ता व विधायकों को टिकट नहीं दिये जाने से नाराज वरिष्ट नेता अश्विनी चौबे ने सीधे तौर पर टिकट बंटवारे में मोदी की मनमानी, हठ तथा कार्यकर्ताओं की उपेक्षा का आरोप लगाया। स्मरण हो कि कोसी क्षेत्र में सहरसा के बीजेपी विधायक संजीव कुमार झा सहित कई ऐसे नाम रहे है जिन्हें चौबे गुट का समझा जाता था उन्हें पार्टी टिकट नहीं मिलने से भी श्री चौबे का गुस्सा फूटा।
भागलपुर से विधायक रहे अश्विनी चौबे की छवि बीजेपी के जनाधार वाले पुराने कद्दावर नेता की रही है। विधानसभा चुनाव से ठीक पहले पार्टी में चल रहे इस घमासान से बीजेपी की लुटिया तो डूबेगी ही..... .. एनडीए की सेहत के लिए भी यह खतरे की घंटी है !